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अलर्ट: जरूरत से ज्‍यादा सोने से हो सकते हैं ये 7 गंभीर नुकसान

नींद हर इंसान के लिए बहुत जरूरी और फायदेमंद होती है। सोने से हमारा दिमाग तरोताजा होता है और एनर्जी भी रिस्टोर होती है। लेकिन हर चीज की एक लिमिट होती है जरूरत से ज्‍यादा कुछ आपके स्‍वास्‍थ्‍य के लिए फायदेमंद नहीं है। नींद के साथ भी ऐसा ही है।

जरूरत से ज्‍यादा नींद आपके लिए परेशानी का कारण बनती है। कुछ लोगों को सोने की आदत ज्यादा होती है ऐसे लोग अधिकतर बिस्तर पर ही रहना पसंद करते है। लेकिन आपको जानकर हैराना होगी कि जरूरत से ज्‍यादा आपके स्‍वास्‍थ्‍य के लिए गंभीर खतरा बन सकता है। बहुत अधिक सोने के ये 7 नकारात्मक प्रभाव आपकी नींद दूर करने में मदद करेगें।

अधिक सोने के 7 नकारात्‍मक प्रभाव

1. मोटापा बढा़ए

ज्यादा सोना आपको  मोटापे का शिकार बना रहा है। और मोटापा अपने साथ कई बीमारियां लेकर आता है, एक अध्ययन से पता चला है कि 6 साल के समय में, जो लोग रोजाना 10+ घंटे सोते थे, उनमें 7-8 घंटे सोने वालों की तुलना में मोटे होने की संभावना 21% अधिक थी।

2. हार्ट डिसीज और डायबिटीज का खतरा

अध्ययनों बताते हैं कि रोज 9-11 घंटे सोने से हृदय रोग होने का खतरा 28% तक बढ़ सकता है। इसके अतिरिक्त, अधिक सोने से हृदय संबंधी जटिलताओं से आपकी मृत्यु का जोखिम 34% तक बढ़ जाता है। इतना ही नहीं बहुत अधिक नींद लेने से आपका ब्लड शुगर लेवल भी बढ़ सकता है। एक गतिहीन जीवन शैली और वजन बढ़ने के साथ, टाइप II डायबिटीज होने का खतरा बढ जाता है।

3. कमर दर्द की शिकायत

ज्यादा देर तक बिस्तर पर सोने से कमर दर्द की शिकायत हो जाती है। अगर आप 8 घंटे से ज्यादा बिस्तर पर सोते रहते हैं तो आपके शरीर में खून का प्रवाह बुरी तरह प्रभावित होता है। यह जरूरी है कि आप सिर्फ 7-8 घंटे की नींद लें और सुबह व्यायाम करें।

4. सिरदर्द की वजह

जो लोग अधिक सोते हैं वे अक्सर सिरदर्द की शिकायत से परेशान रहते हैं, मस्तिष्क में न्यूरोट्रांसमीटर में उतार-चढ़ाव के कारण सिरदर्द हो सकता है, जो अधिक नींद की वजह है।

5. डिप्रेशन

आप जानते हैं कि बहुत अधिक सोना डिप्रेशन का कारण बन सकता है। लंबे समय तक सोने से मस्तिष्क में डोपामाइन और सेरोटोनिन हार्मोन का स्तर कम हो जाता है। ये हार्मोन आपको खुश महसूस कराते हैं। अगर आप ज्यादा सोते हैं तो दिन भर आपका मूड चिड़चिड़ा बना रहता है।

6. बुढापे की वजह

लंबे समय तक सोने से दिमाग की उम्र तेजी से बढ़ती है। अध्‍ययन बताते हैं कि सोने में बहुत अधिक समय बिताने से आपके मस्तिष्क की आयु 2 वर्ष तक बढ़ जाती है जिससे याददाश्‍त और दिमाग के कार्यों को करने की आपकी क्षमता पर बुरा प्रभाव पडता है।

7. सेक्‍सुअल स्‍वास्‍थ्‍य पर बुरा प्रभाव

सेक्‍सुअल स्‍वास्‍थ्‍य हमारे सोने-जागने के कार्यक्रम से बहुत अधिक प्रभावित होता है। जो महिलाएं इन विट्रो फर्टिलाइजेशन ट्रीटमेंट के दौरान ज्यादा सोती हैं, उनमें मध्यम मात्रा में सोने वालों की तुलना में गर्भधारण की संभावना 43% कम होती है। यानि जरूरत से ज्‍यादा प्रजनन क्षमता पर सीधा प्रभाव डालता है।

विशेषज्ञों ने सोने के सही समय की लिमिट 7 से 8 घंटे की बताई है अगर पर रोजाना 10 घंटे या उससे अधिक सो रहे हैं तो इसमें कोई दोराहा नहीं है कि आप अपने जीवन को खतने में डाल रहे हैं।

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